मेरी गुमनामी तेरी इमाम है

मेरी गुमनामी तेरी इमाम है,
मेरी गुमनामी तेरी इमाम है,
फ़ासले की लम्बी दूरी तेरी इंतिहान है।
देखे न देखे बीते पलों को,
देते रहेंगे दस्तक हर पल तेरे दिल को।
अरबों कमा ले तू वक़्त रहते,
परमपिता परवरदिगार ईश्वर से दुआ रहेगी हमारी।
बंद मत करना ये खूबसूरत मृगनयनी आखें तुमारी,
बंद मत करना ये खूबसूरत मृगनयनी आखें तुमारी,
वरना नज़र आएंगे बीते लमहे हमारी।
सोचना मत कभी ये, सोचना मत कभी ये
दूरियाँ क्यूं और कैसे पनपी मुहब्बते-इश्क़ में हमारी।
था इश्क़ या जीवन के लिए एक सबक,
था इश्क़ या जीवन के लिए एक सबक,
जैसे गुमनाम हो गए हम आचानक।
न करना तू कभी चिंता हमारी, न करना तू कभी चिंता हमारी,
क्यूंकि जीवन भर, हर लम्हें, हर एक पल अब तो रहेगी परछाईं तुम्हारी।
रहे जीवित तो फिर मिलेंगे, रहे जीवित तो फिर मिलेंगे,
वरना उन अरबों में से कुछ पैसे लगा कर,
चादर चड़ा देना कब्र पर हमारी।
न पढ़ना दुआ भूल कर याद में हमारी,
न पढ़ना दुआ भूल कर याद में हमारी
वरना उठ खड़ा होऊँगा दफ़ने कब्र से, याद में तुम्हारी।

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